यह कहानी रवि की है ,जो एक बार अपने कुछ दोस्तों के साथ घूमने जाता है। पर वे एक गलत रास्ते से अपनी यात्रा शुरू कर देते है ,तब सामना एक भयानक चुड़ैल से होता है।
मेरा नाम रवि है। मैं एक बार अपने कुछ फ्रेंड्स के साथ किसी जगह घूमने गया था। हम कुल चार मित्र घूमने गए थे। दिन भर हमने खूब मस्ती की और हमें वापिस घर लौटते वक्त काफी रात हो गयी थी। मुझे रात की यात्रा शुरू से ही पसंद नहीं थी। क्यूँकि रात को मुझे थोड़ा डर भी लगता था।
एक तो मेरा घर मेरे दोस्तों के घर से काफी दूर था, ऊपर से वह समय बारिश का भी था। तो रास्ता भी ठीक से नहीं दिख रहा था। पर हम सब कार से घर आ रहे थे तो इतनी चिंता की बात नहीं थी।
थोड़ी देर बाद हम एक सुनसान रास्ते पर आ गए थे, अब वहां गाड़ी मात्र भी नहीं थी।
यह एक शॉर्ट कट है, गाड़ी चलाते हुए मेरे दोस्त ने कहा।
मेने कहा देख रात का समय पर हमे ऐसे सुनसान रास्तों से नहीं जाना चाहिए।
वो बोला साले तुझे बड़ा डर लगता है, फट्टू कई के।
सब हसने लगे, पर मे चुप था।
सभी हँस ही रहे थे कि तभी सामने एक औरत रोड पर खड़ी दिखी। मेरे दोस्त ने गाड़ी रोकी।
हम सब देखने लगे कि इतनी रात को यह औरत इस रास्ते पर क्या कर रही है? मेरे दोस्त ने कहा कि चलो शायद इसे हमारी मदद की जरूरत हो।
मेने कहा कि तुम लोगो का दिमाग तो ठीक है, जरा सोचो इतनी रात को कोई औरत इस सुनसान रोड़ पर क्या कर रही होगी? मुझे तो कुछ गड़बड़ लगती है।
कही चोरों का कोई गिरोह तो नहीं, जो रात में इस तरह से कहानी रच के लोगो को लूटते है। और बाद में शायद उन्हें मार भी दे।
अरे चलो चलके पूछते है आखिर शायद कोई आसपास के गाव की होगी।
मुझे उन चुतियो पर इतना गुस्सा आया कि सब को मे ख़ुद ही मार दु , खुद तो मरेंगे साले मुझे भी मरवा देंगे।
मेरे दोस्त ने उस औरत के पास गाड़ी रोक कर पूछा कि कुछ मदद चाहिए क्या माजी।
उस समय उस औरत का चेहरा दूसरी ओर था। पर जैसे ही वो मुड़ी, मेरे दोस्त ने गाड़ी ज़ोर से आगे भगा दी।
हमने उससे पूछा कि क्या हो गया गाड़ी इतनी तेज क्यू भगाया?
वो बोला अरे तुमने उसका चेहरा नहीं देखा। उस चेहरे से भयानक तो कोई चीज़ ही नहीं हो सकती।
थोड़ा आगे जाने पर रास्ता बंद था, उस जगह भूस्खलन हुआ था। हम बस टकराते टकराते बचे।
मैंने उससे कहा कि देख क्या रहा है, जल्दी गाड़ी मोड़ और चल मैं रोड़ पर।
वो बोला अरे पर वहां तो वो औरत है ना?
औरत वौरत को छोड़ गाड़ी भगा और कोई भी आए तो गाड़ी मत रोकना।
उसने गाड़ी वापिस मैन रोड़ की तरफ बड़ा दी। हम उसी रास्ते पर आने वाले थे पर वहां वो औरत नहीं थी। हम थोड़ी आगे गये ही थे कि हमारी गाड़ी के ऊपर कोई चीज़ तेजी से गिरी, वो चीज़ एक लकड़ी का बड़ा सा लट्ठा था।
मेने कहा कि गाड़ी तेजी से भगा। तभी हमारे सामने वो औरत खड़ी थी। अब वो हमारी ही तरफ देख रही थी। हमने भी उसका चेहरा देखा। उसका चेहरा बड़ा ही भयानक था। तभी उसने अपने सर को अलग किया और अपना सिर हमारी कार पर फेंक दिया।
मेने अपने दोस्त से कहा कि गाड़ी भगा। हमने पीछे देखा कि वो सिर कटी औरत हमारा बहुत तेजी से पीछा कर रही थी।
पर जैसे तैसे करके हम मुख्य हाइवे पर पहुचें। और हमने पीछे देखा। पर वहां कोई नहीं था।
दोस्तों कहानी के माध्यम से आपसे रिक्वेस्ट करता हु, कि ऐसे रात के समय किसी को भी बिना सोचे समझें लिफ्ट ना दे, क्यूँकि आजकल चोर-लुटेरों का कोई भरोसा नहीं है।
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